Page 67 - Mann Ki Baat, October 2022
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को ियागू सक्या, सजिमें जनजयाती् भूसम
 को गैर-जनजयाती् िोगों को सरयानयांतररत   ‘जनजातनीर स्वतांत्रता सेनाननरों को दशभर म  ें
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 करने  पर  पयाबंदी  री।  इिी  तरि  कया
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 ियामयासजक-आसर्यक  और  रयाजनीसतक   पहचाना जा रहा ह’
 िंघष्य  रयाजसरयान  के  डगरपुर  और
 टूिं
 बयाँिवयाड़या  के  भीि  कबीिों  ने  भी  िड़या।   देश के सवतंत्रतया आंदोिन में भयारत   बदि  ग्या  और  मंडया  की  उपिस्ध्ों
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 भीि  िोगों  की  प्मुख  सशकया्त  सब्सटश   के  जनजयाती्  िमुदया्  की  मित्वपूण्य   और  शियादत  को  देशभर  में  मयान्तया
 रयाज द्यारया बंधुआ मज़दूरी िे जुड़ी री, सजिे   भूसमकया  रिी  िै।  ‘आज़यादी  कया  अमृत   समिने िगी। उनकी प्सतमया ओसडशया के
 रर्यािती रयाज्ों में शुरू सक्या ग्या रया।   मिोतिव’ के ियार, िम न केवि आ़जयादी   औद्योसगक शिर रयाउरकेिया में चौरयािे पर
 सब्सटशि्य के आगमन िे पििे, भीि िोग
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 वन असधकयारों कया पूरया ियाभ उठया रिे रे।   के 75 वषषों कया और देश के िोगों, िंसककृसत,   सरयासपत की गई री। ििद भवन में भी
 रयाजसरयान में पििया भीि सवद्रोि 1883 में   और उपिस्ध्ों के गौरवशयािी इसतियाि   उनकया  सचत्र  और  उनकी  प्सतमया  िगयाई
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 उठया, सजिे ‘भगत आंदोिन’ भी किते िैं।   कया जश्न मनया रिे िैं, बसलक उन गुमनयाम   गई। सबरिया मंडया की ज्ंती 15 नवमबर को
 इिकया नेतृतव गुरु गोसवंद सगरी ने सक्या   अपनी पूरी तयाकत के ियार औपसनवेसशक   नया्कों को भी मयान्तया दे रिे िैं, सजनिोंने   पूरे देश में जनजयाती् गौरव सदवि के रूप
 रया।  इि  मियान  क्यांसतकयारी  ने  भीिों  को   उतपीड़न  कया  ियामनया  सक्या  और  अपने-  िमयारी  आ़जयादी  के  सिए  अरक  िंघष्य   में मनयाई जया रिी िै। देशभर के जनजयाती्
 उनके असधकयारों के प्सत िचेत करने के   अपने कबीिों के िोगों को इि कया््य के   सक्या। जनजयाती् प्सतरोधों और नेतयाओं   िमुदया्  ने  सवतंत्रतया  िंग्याम  में  प्मुख
 सिए अनेक कसवतयाएँ भी सिखी रीं।  सिए एकजुट सक्या रया। ्िी जनजयाती्   पर  प्मुख  ध्यान  सद्या  ग्या  िै।  इनिें   भसमकया सनभयाई िै। उनके क्यांसतकयारर्ों को
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 देश के सवसभन्न सिसिों में ऐिे अनेक   सवद्रोि  रयाषट्री्  सवतंत्रतया  असभ्यान  में   िरकयार  देशभर  में  जनजयाती्  गौरव   अब पिचयानया जयाने िगया िै और िगभग
 आंदोिनों  ने  अंततः  िमूचे  भयारती्   ‘सवरयाज’  के  पूव्यवतजी  सवचयार  के  तौर  पर   सदवि और जनजयाती् सवतंत्रतया िेनयानी   िर जगि जनजयाती् सवतंत्रतया िेनयासन्ों
 उपमियाद्ीप  में  सवतंत्रतया  आंदोिन  को   मयाने गए।
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 िवया  दी।  सतिकया  मयांझी,  बुधु  भगत,  ऊ.   जनजयाती्  नेतयाओं  के  ्ोगदयान  के   िंग्ियाि्ों  की  सरयापनया  जैिी  सवसभन्न   के िंग्ियाि् बन रिे ि। प्त्क रयाज् के
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 सतरोत सिंग, सिधु और कयानिु मुमू्य, रयानी   प्सत आभयार व्कत करते िुए जनजयाती्   पििों  के  मयाध्म  िे  िममयासनत  करनया   जनजयाती्  अनिंधयान  िंसरयानों  को  ्ि
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 गयाइसदनल् ऐिे िी कुछ नयाम िैं, सजनिोंने   िग्ियाि् देशभर में सवकसित सकए जया   चयािती िै।  सज़ममदयारी दी गई िै सक वे अपने रयाज् के
 ं
 रिे िैं। ्े िग्ियाि् जनजयाती् इसतियाि   िमयारी  दूरदश्यन  टीम  ने  इन  पििों   उन गुमनयाम नया्कों के बयारे में पतया करें,
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 के सवसभन्न पक्षों और कसड़्ों को गिरे िे   के बयारे में जनजयाती् अनुिंधयान िंसरयान   सजनकी अभी तक पिचयान निीं िो पयाई िै।
 कृ
 िमझने कया मयाग्य ियासबत िोंगे। िंसकसत   (TRI), रयाँची के सनदेशक डॉ. रणेंद्र िे बयात   देशभर  में  भगवयान  सबरिया  मंडया  जिे  85
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 मंत्रयाि्  ने  सतिकया  मयांझी,  रिककि   की।  सवतंत्रतया िेनयासन्ों को सचसनित सक्या जया
 ं
 चंरू,  रयामजी  गोंड,  टयासट्या  भीि,  सबरिया   “सबरिया मंडया पर कुमयार िुरेश सिि   रिया िै, सजन पर सकतयाबें प्कयासशत की जयानी
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 मुंडया, मयािती मेम और िेिेन िेपचया जैिे   द्यारया प्कयासशत रीसिि के बयाद भयारत के   चयासिए  और  उनि  पयाठ्यक्म  में  शयासमि
                                                        ें
 20  जनजयाती्  सवतंत्रतया  िेनयासन्ों  पर   जनजयाती्  िमुदया्ों  के  प्सत  दसषटकोण   सक्या जयानया चयासिए।”
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 कॉसमक बुक भी जयारी की िै। 1 नवमबर,
 2022 को प्धयानमंत्री ने जनजयाती् सवतंत्रतया
 नया्कों और शिीदों को श्रद्यांजसि देने के
 सिए रयाजसरयान के बयािवयाड़या के मयानगढ़
 ँ
 सिि में ‘मयानगढ़ धयाम की गौरव गयारया’
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 नयामक ियाव्यजसनक कया्क्म में सशरकत
 की री। ्े िभी कदम और पिि सवतंत्रतया
 िंघष्य के बयारे में नई पीढ़ी और व्सकों के
 ज्यायान और िोच-िमझ में श्रीवृसद् करेंगे।
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