Page 40 - Mann Ki Baat December 2022
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नसखाने और प्रेररत करने िालरी -
योगऐनेटमरी
सछहत सवासरय समबनधी छवछभन्न िहलुओं
में योग लाभकारी हो सकता है।
वै्वीकरण के इस युग में जीवन
शैली और आहार में भारी ब्लाव आ रहा
है, इसछलए सवासरय समबनधी वयािक
और समग्र ्ेखभाल प््ान करने के छलए
छवछभन्न भारतीय िारमिररक छवज्ाानों
के बीच अनतस्षमबनध का िता लगा
डॉ. राजेनद्र अचयुत बडवे
सछज्षकल कैंसर छवशेरज्ा, कर इनहें प्माछणत करना उछचत होगा।
छन्ेशक, टाटा मेमोररयल सेनटर टाटा मेमोररयल सेनटर (TMC), मुमबई
ने िश्चमी तरीके से चीजों का िरीक्ण
करने के उद्े्य से योग िर आधाररत
एक अधययन छकया। रोछगयों को योग
को समझने और अभयास करने के
भारत के प्ाचीन गहन ्श्षन में ऊिरी सोिानों िर ले जाया गया, जो तीन
आरमभ हुआ आधयाशतमक अभयास, चरणों में छकया गया था : ्वास, आसन
शारीररक और मानछसक कलयाण को और आधयाशतमकता।
बढ़ावा ्ेने के एक उिाय के रूि में सतन कैंसर िर अधययन ्ो तरह
लोकछप्य हो गया है। योग की ख़ाछसयत के रोछगयों के बीच छकया गया। एक,
ृ
यह है छक आि युवा हों या वद्, मोटे हों छजनहोंने सज्षरी और रेछडएशन से िहले
या ्ुरुसत, इसमें आिका मन शानत कीमोथेरेिी और योग सेशनस में भाग
ृ
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और तन स्ढ़ करने की अ् भुत शशकत छलया था और ्ूसरे वे, छजनहोंने सज्षरी
्
है। अधययनों से िता चला है छक तनाव के बा् योग और कीमोथेरेिी शुरू
प्बनधन, मानछसक/भावनातमक सवासरय, की। रोछगयों का मूलयांकन उनकी
िौशषटक भोजन/गछतछवछध समबनधी शारीररक शशकत, भावनातमक शसथरता,
ु
आ्तों, नीं् और सनतलन को बढ़ावा ्ेन े अचिा महसूस करने, थकान, उनमें
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